Author is not an alien

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I write because we had deleted enough

Monday, December 30, 2013

अक्सर तुम मिल जाते हो



इन सर्द सिहरती रातों में 

कुछ भूले बिसरे गीतों में

कुछ कही अनकही बातों में

कहीं भटकी हुई सी राहों में 

अक्सर तुम टकरा जाते हो

इन अलसाई सी सुबहों में

कुछ याद नहीं उन ख्वाबों में

किसी अधूरी सी कहानी में 

बारिश के ठहरे पानी में 

अक्सर तुम मिल जाते हो

उन गुड्डे गुड़ियों के खेलों में

रंगों से भीगे मेलों में 

बेवजह किसी के हसने में

यूँ दिल किया रो देने में 

अक्सर तुम दिख जाते हो


हाँ अक्सर तुम मिल जाते हो 







4 comments:

  1. Erm, not in English.

    A beautiful picture of a stunning Princess. <3

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  2. amazing!!!! it flowed with my imagination

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  3. A New Year gift

    https://medium.com/p/801e08a83f9d

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